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भारत का संविधान प्रत्येक भारतीय नागरिक के लिए संविधान का पालन करने और उसके आदर्शों, संस्थाओं और राष्ट्रीय ध्वज तथा राष्ट्रीय गान का सम्मान करने को प्रत्येक नागरिक का पहला और सर्वोच्च मौलिक कर्तव्य बनाता है। ऐसा करने के लिए सबसे पहले हमें अपने संविधान से यह जानना ज़रूरी है कि हम किस प्रकार शासित होते हैं, एक नागरिक के रूप में हमारे लोकतांत्रिक अधिकार व कर्तव्य क्या हैं, आदि। हमारे विद्यालयों तथा विश्वविद्यालयों में शिक्षकों व विद्यार्थियों के बीच एक लक्ष्य होना चाहिए कि अंतर्गत वे अपने संविधान में रुचि लेते हुए उसके बारे में अधिक से अधिक जानें। यह पुस्तिका बहुत ही सरल और सहज भाषा में, विश्व के सबसे बड़े संविधान और उसकी कार्यप्रणाली को बहुत ही संक्षिप्त रूप में समझाने का प्रयास है। साथ ही, यह संविधान से जुड़ी बहुत सी प्रचलित भ्रांतियों को दूर करने का प्रयास भी करती है।
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भारत का संविधान प्रत्येक भारतीय नागरिक के लिए संविधान का पालन करने और उसके आदर्शों, संस्थाओं और राष्ट्रीय ध्वज तथा राष्ट्रीय गान का सम्मान करने को प्रत्येक नागरिक का पहला और सर्वोच्च मौलिक कर्तव्य बनाता है। ऐसा करने के लिए सबसे पहले हमें अपने संविधान से यह जानना ज़रूरी है कि हम किस प्रकार शासित होते हैं, एक नागरिक के रूप में हमारे लोकतांत्रिक अधिकार व कर्तव्य क्या हैं, आदि। हमारे विद्यालयों तथा विश्वविद्यालयों में शिक्षकों व विद्यार्थियों के बीच एक लक्ष्य होना चाहिए कि अंतर्गत वे अपने संविधान में रुचि लेते हुए उसके बारे में अधिक से अधिक जानें। यह पुस्तिका बहुत ही सरल और सहज भाषा में, विश्व के सबसे बड़े संविधान और उसकी कार्यप्रणाली को बहुत ही संक्षिप्त रूप में समझाने का प्रयास है। साथ ही, यह संविधान से जुड़ी बहुत सी प्रचलित भ्रांतियों को दूर करने का प्रयास भी करती है।
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Vitasta Publishing
₹200.00

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